फोरेक्स के मूल बातें

डीमैट अकाउंट का क्या मतलब होता है?

डीमैट अकाउंट का क्या मतलब होता है?
Demat Account Meaning in Hindi

डीमैट अकाउंट का क्या मतलब होता है?

बीओ आईडी BO ID (बेनेफिशरी ओनर आइडेंटिफिकेशन नंबर) आपके डीमैट अकाउंट की पहचान करने के लिए इस्तेमाल किया जाने वाला 16-अंकों का नंबर जो प्रत्येक क्लाइंट के लिए यूनिक है। BO ID यहां पाया जा सकता है।

Console > Account > Demat में लॉगिन करें।

Demat ID हैडिंग के अंदर जो 16 डिजिट नंबर है, वह DP ID + BO ID है। डीमैट ID का इस्तेमाल IPO एप्लीकेशन और CDSL TPIN ऑथरिज़ैशन के लिए किया जाता है।

BO ID हैडिंग के अंदर जो 8 डिजिट नंबर है, उसको इस्तेमाल करके CDSL Easiest में रेजिस्टर करना होता है।

16-डिजिट BO ID एंटर करके अपनी CDSL TPIN जेनेरेट करने के लिए यहां क्लिक करें।

CDSL TPIN कैसे जनरेट कर सकतें है, यह जानने के लिए इस आर्टिकल को देखें।

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ट्रेडिंग के लिए Demat अकाउंट चाहिए तो अब तक का सबसे किफायती और आसान तरीका अपनाइए

भारत ने NSE पर व्यापार के लिए वर्ष 1996 में Demat अकाउंट प्रणाली की प्रक्रिया की शुरुआत हुई थी। इसमें आप रुपए या पैसे नहीं बल्कि शेयर सर्टिफिकेट और अन्य सिक्योरिटीज को इलेक्ट्रॉनिक फार्म के रूप में सुरक्षित रख सकते हैं।

नई दिल्ली, ब्रांड डेस्क। अगर आप भी शेयर मार्केट (Share Market ) में ट्रेडिंग करने की सोच रहे हैं लेकिन Demat खाता खोलने, उसे समझने और उसके संचालन करने की बेसिक से ब्रॉड जानकारी हासिल करना चाहते हैं तो इसके लिए अब आपको बिल्कुल भी परेशान होने की जरूरत नहीं है। क्योंकि अब यह सभी काम पर आप अपने मोबाइल पर घर बैठे बिना किसी की मदद के कर सकते हैं। इसके लिए बस आपको अपने फोन के गूगल प्ले स्टोर पर जाना होगा और वहां से 5paisa App डाउनलोड कर लेना है।

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क्या Demat खाता भी बैंक खाते की तरह ही होता है?

भारत ने NSE पर व्यापार के लिए वर्ष 1996 में Demat अकाउंट प्रणाली की प्रक्रिया की शुरुआत हुई थी। डीमैट खाता एक तरह से बैंक अकाउंट की तरह ही होता है। लेकिन इसमें आप रुपए या पैसे नहीं बल्कि शेयर सर्टिफिकेट और अन्य सिक्योरिटीज को इलेक्ट्रॉनिक फार्म के रूप में सुरक्षित रख सकते हैं। डीमैट अकाउंट का वास्तविक अर्थ डिमैटेरियलाइजेशन अकाउंट होता है, जिसकी मदद से शेयर, बॉन्ड्स, गवर्नमेंट सिक्योरिटीज , म्यूचुअल फंड, इंश्योरेंस और ईटीएफ जैसे इन्वेस्टमेंट को रखने की प्रक्रिया आसान हो जाती है। इस खाते के माध्यम से शेयरों व संबंधित डॉक्यूमेंट्स के रखरखाव की परेशानियां दूर हो जाती हैं।

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5paisa में कैसे लॉगिन करें अपना Demat Account

यदि आपके पास 5paisa App है तो अच्छा है लेकिन अगर आपके पास यह एप नहीं है तो तुरंत अपने फोन पर यह एप डाउनलोड कर लीजिए। क्योंकि ऑनलाइन ट्रेड के लिए यह पहला पड़ाव है। इस खाते की मदद से कोई भी निवेशक फिजिकल शेयर को डिमैडिमैटेरियलाइज कर सकता है।

इस एप पर डीमैट खाता खोलने वाले इच्छुक निवेशक के पास केवल उसका व्यक्तिगत पैन कार्ड, आधार कार्ड, मतदाता पहचान पत्र,पासपोर्ट या ड्राइविंग लाइसेंस होना चाहिए। इसके अलावा पते का प्रमाण जैसे राशन कार्ड, बिजली का बिल, टेलीफोन बिल, संपत्ति कर की रसीद, पासपोर्ट, बैंक पासबुक, मतदाता पहचान पत्र, या आधार कार्ड भी मान्य होगा।

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वहीं खाता खोलने के कैंडिडेट्स को आय का प्रमाण जैसे आयकर रिटर्न (ITR) की फोटोकॉपी, हाल की सैलरी स्लिप, वर्तमान बैंक का बैंक खाता विवरण, या स्वयं का कैंसिल चेक।

Demat Account क्या है ? और यह कैसे काम करता है

दोस्तों सिक्का बाजार पर एक बार फिर आपका स्वागत है। जब भी हम शेयर या शेयर मार्केट के बारे में बात करते है। तो एक बहुत ही महत्वपूर्ण शब्द का प्रयोग होता है और वो शब्द है डीमैट अकाउंट (Demat Account), बात सही भी है क्योंकी जब तक हम डीमैट और ट्रेडिंग अकाउंट खोल नहीं लेते तब तक हम शेयर मार्केट में निवेश नहीं कर सकते।

बहुत से लोग आज भी नहीं जानते है की डीमैट और ट्रेडिंग अकाउंट क्या है (What is Demat and Trading Account) और सच में इन दोनों अकाउंट में कोई अंतर है, या डीमैट और ट्रेडिंग अकाउंट एक ही है?

वैसे तो डीमैट और ट्रेडिंग अकाउंट दोनों अलग-अलग है।

तो आज की पोस्ट में हम समझेँगे की डीमैट और ट्रेडिंग अकाउंट क्या है और डीमैट और ट्रेडिंग अकाउंट में क्या अंतर है? (Difference Between Demat and Trading Accounts)

डीमैट अकाउंट क्या है ?

डीमैट अकाउंट (Demat Account)

डीमैट खाता 'डीमटेरियलाइज्ड अकाउंट' का एक संक्षिप्त रूप है। यह एक बैंक खाते के समान है। जिस तरह आपके बचत खाते में पैसा रखा जाता है, उसी तरह आपके खरीदे गए शेयरों को आपके डीमैट खाते में रखा जाता है।

दूसरे शब्दों में, एक डीमैट खाता एक सुविधा के रूप में कार्य करता है जहां आपके द्वारा खरीदे गए शेयरों को जमा किया जाता है और बेचे गए स्टॉक को हटा दिया जाता है। डीमैट खाते का उपयोग केवल स्टॉक के भंडारण के लिए किया जाता है, लेन-देन (खरीदने / बेचने) के लिए नहीं।

डीमैट खाते के बारे में त्वरित तथ्य

भारत में इंटरनेट लोकप्रिय होने से पहले, डीमैट खाते नहीं थे। जब भी आप स्टॉक खरीदते थे , वो स्टॉक्स कागजात पर ख़रीदे जाते थे और शेयर सर्टिफिकेट प्रदान किए जाते थे। हालाँकि, पेपर शेयर प्रमाणपत्रों का उपयोग करने की कई सीमाएँ थीं। वे फटे हुए या चोरी या सुरक्षा से संबंधित मुद्दों का सामना करते थे या स्याही समय के साथ फीकी पड़ जाती थी ।

फिर भी, 1990 के दशक के मध्य से इंटरनेट आने के बाद, शेयरों को खरीद्दारो के डीमैट खाते में इलेक्ट्रॉनिक डीमटेरियलाइज्ड रूप में रखा जाने लगा। इसने पुराने पेपर शेयर प्रमाणपत्रों की अधिकांश सीमाओं को हल कर दिया।

डीमैट और ट्रेडिंग अकाउंट किस प्रकार खोला जाता है

डीमैट और ट्रेडिंग अकाउंट खोलने के लिए निम्नलिखित दस्तावेजों की आवश्यकता होती है-

  • पैन कार्ड/ PAN Card
  • आधार कार्ड (पते के प्रमाण के लिए) /Aadhar card (for address proof)
  • रद्द किया गया चेक / बैंक स्टेटमेंट / पासबुक/Canceled cheque/Bank Statement/Passbook
  • पासपोर्ट साइज फोटो/ Passport size photos

आपका सेविंग अकाउंट किसी भी निजी / सार्वजनिक भारतीय बैंक में हो सकता है।

उस बैंक के माध्यम से आप अपना ट्रेडिंग और डीमैट अकाउंट खोल सकते है।

ट्रेडिंग अकाउंट क्या है?

ट्रेडिंग अकाउंट (Trading Account)

ट्रेडिंग अकाउंट शेयर बाजार में शेयर खरीदने और बेचने का एक माध्यम है। सरल शब्दों में, इसका उपयोग बाजार में स्टॉक के लिए ऑर्डर देने के लिए मतलब खरीदने या बेचने के लिए किया जाता है।

विभिन्न स्टॉकब्रोकर अपने ट्रेडों को सरल बनाने के लिए अपने क्लाइंट को विभिन्न ट्रेडिंग टूल प्रदान करते हैं। उदाहरण के लिए, Zerodha, भारत में सबसे बड़ा स्टॉकब्रोकर है जो स्टॉक में व्यापार करने के लिए अपने प्लेटफॉर्म के रूप में KITE ’प्रदान करता है। एक बार जब आप एक स्टॉकब्रोकर के साथ अपना ट्रेडिंग अकाउंट खोल लेते हैं, तो आप उन प्लेटफार्मों का उपयोग करके अपने स्टॉक के खरीदी और बिक्री के आदेश दे सकते हैं।

डीमैट और ट्रेडिंग खातों का उदाहरण

आइए एक उदाहरण की मदद से ट्रेडिंग और डीमैट अकाउंट के बीच के अंतर को समझते हैं। मान लें कि आप टाटा मोटर्स के 100 स्टॉक खरीदना चाहते हैं। यहां, प्रक्रिया के दौरान अनुक्रम निम्नानुसार होगा -

  • सबसे पहले, आपको अपने बचत खाते में खरीद राशि के बराबर या उससे अधिक की बचत राशि रखनी होगी।
  • इसके बाद, आप बचत खाते से ट्रेडिंग खाते में धन स्थानांतरित करेंगे।
  • अब, आप अपने ट्रेडिंग खाते का उपयोग करके और राशि का भुगतान करके स्टॉक एक्सचेंज से टाटा मोटर्स के शेयर खरीदेंगे।
  • अंत में, पैसा आपके ट्रेडिंग खाते के माध्यम से विक्रेता को ट्रांसफर किया जाता है और टाटा मोटर्स के शेयरों को आपके डीमैट खाते में ट्रांसफर कर दिया जाता है।

अब मान लेते हैं कि कुछ महीनों के बाद, आप अपने 100 शेयरों में से टाटा मोटर्स के 20 शेयरों को बेचना चाहते हैं। यहाँ क्रम निम्नानुसार होगा -

  • सबसे पहले, आप खरीददार को खोजने के लिए अपने ट्रेडिंग खाते का उपयोग करके बाजार में बेचने का आदेश देंगे।
  • यदि कोई खरीददार मिल जाता है, तो शेयर आपके डीमैट खाते से खरीददार तक पहुंच जाएंगे।
  • अंत में, आपके स्टॉक को बेचकर प्राप्त धन आपके ट्रेडिंग खाते से आपके लिंक्ड बचत खाते में ट्रांसफर कर दिया जाएगा।

डीमैट और ट्रेडिंग अकाउंट के बारे में जानने के लिए कुछ अन्य बिंदु

  • भारत के अधिकांश लोकप्रिय स्टॉकब्रोकर, डीमैट और ट्रेडिंग खाते एक साथ खोलते हैं (भारत में इन्हे 2-इन-1 खाते के रूप में भी जाना जाता है) । उदाहरण के लिए, ज़ेरोधा, एंजेल ब्रोकिंग, 5 पैसा (Zerodha, Angel Broking, 5 Paisa) आदि।
  • कुछ बड़े स्टॉकब्रोकर (आम तौर पर बैंक ब्रोकर) भी अपने ग्राहकों को 3-इन-1 खाते यानि सेविंग + डीमैट + ट्रेडिंग खाते की पेशकश करते हैं। उदाहरण के लिए आईसीआईसीआई डायरेक्ट, एचडीएफसी सिक्योरिटीज (ICICI Direct, HDFC Securities) आदि।
  • सामान्य तौर पर, ट्रेडिंग खाते के लिए कोई वार्षिक रखरखाव शुल्क नहीं होता है, जहां डीमैट खाते के लिए यह रखरखाव शुल्क दलाल से दलाल तक भिन्न हो सकता है। यह आमतौर पर प्रति वर्ष लगभग 300-400 रुपये होता है।
  • इन दिनों, निवेशक और व्यापारी, प्रमुख स्टॉकब्रोकर के साथ 10 मिनट के भीतर तत्काल (पेपरलेस) डीमैट और ट्रेडिंग खाता खोल सकते हैं। बहरहाल, ऑफ़लाइन खाता खोलने की सुविधा अभी भी भारत में लोकप्रिय है और इन सभी दलालों द्वारा पेश की जाती है।
  • डीमैट और ट्रेडिंग खाते के लिए खाता खोलने का शुल्क भी दलाल से दलाल तक भिन्न होता है। कुछ ब्रोकर मुफ्त खाता खोलने की पेशकश करते हैं। हालांकि, उनमें से अधिकांश आपके ब्रोकरेज खाते को खोलने के लिए 300-500 रुपये के बीच कहीं चार्ज करेंगे।
  • इसके अलावा, आपको एक ही पैन कार्ड का उपयोग करके कई डीमैट और ट्रेडिंग खाते खोलने की भी अनुमति है। उदाहरण के लिए, आपके पास कई खाते हो सकते हैं - एक आईसीआईसीआई (ICICI direct) में और दूसरा ज़िरोधा (Zerodha) में।
  • अंत में, अपने ब्रोकर को अपना डीमैट और ट्रेडिंग खाता डीमैट अकाउंट का क्या मतलब होता है? खोलने के लिए समझदारी से चुनें यदि आप अनावश्यक शुल्क और जोखिम से बचना चाहते हैं।

सारांश

भारत में ट्रेडिंग और डीमैट खाते के बारे में इस लेख में हमने जो चर्चा की है, उसे जल्दी से संक्षेप में समझेंगे।

एक ट्रेडिंग खाता, बाजार में हिस्सेदारी खरीदने या बेचने के लिए एक मंच प्रदान करता है। यह आपके बचत खातों और डीमैट खातों के बीच मध्यस्थ के रूप में कार्य करता है। सरल शब्दों में, यह आपके डीमैट खाते से हिस्सा लेता है और उन्हें बाजार में बेचता है।

दूसरी ओर, यह आपके बचत खाते से पैसे लेता है और डीमैट खाते में रखने के लिए एक शेयर खरीदता है। इसके अलावा, एक डीमैट खाता आपके शेयरों को इलेक्ट्रॉनिक डीमटेरियलाइज्ड रूप में रखने की सुविधा प्रदान करता है।

तो दोस्तों आज हमने जाना है की Demat Account Kya Hai, Trading Account Kya hai और इन्हे किस प्रकार खोला जाता है (Demat Account Kaise open Kare) और इनका उपयोग क्या है।

दोस्तों हम उम्मीद करते है की हमारे इस पोस्ट से आपको मदद मिली होगी। ऐसी ही और महत्त्वपूर्ण जानकारी के साथ मिलते है अगले पोस्ट में।

जानें डीमैट अकाउंट हिंदी में | Demat account kya hota hai | What is Demat account in hindi

काफी सालों से आप शेयर मार्केट के बारे में सुन रहें हैं और अभी आजकल तो डिजिटल इंडिया के ज़माने में आप हर तरफ शेयर मार्केट और डीमैट अकाउंट के बारे में देख-सुन रहें हैं क्यूंकि शेयर मार्केट में इन्वेस्ट करने के लिए आपको डीमैट अकाउंट की जरुरत होती है। आज हम इस लेख में डीमैट अकाउंट क्या है ? और डीमैट का अर्थ, परिभाषा, मीनिंग पर चर्चा करेंगे और भी महत्वपूर्ण बिंदुओं पर हम चर्चा करेंगे।

Demat account kya hota hai | What is Demat account in hindi

डीमैट अकॉउंट क्या होता है ? हिंदी

डीमैट बैंक के सेविंग अकाउंट जैसा ही एक खाता होता है जिसमें हमारे द्वारा खरीदे गए कंपनियों के शेयर इलेक्ट्रॉनिक रूप में रखे जाते हैं इसे हम डीमैट या डीमटेरियलाइज्ड खाता भी कहते हैं। इस खाते में हम शेयर, बांड, म्यूच्यूअल फंड, ईटीएफ और सरकारी प्रतिभूतियों में निवेश कर सकते हैं और उन्हें इलेक्ट्रॉनिक रूप में स्टोर कर सकते हैं। यहाँ आपको डीमैट अकाउंट का मतलब तो पता चल गया होगा कि आखिर डीमैट अकाउंट होता क्या है। आगे हम डीमैट अकाउंट की और भी महत्वपूर्ण बातों पर चर्चा करेंगे।

डीमैटरियलाइजेशन क्या है ? - what is Dematerialization ?

पहले शेयर, बांड या अन्य कोई निवेश काजगी प्रमाण के रूप में रखे जाते थे। लेकिन अब आपके द्वारा शेयर्स में निवेश करने के बाद, शेयर्स इलेक्ट्रॉनिक रूप में आपके डीमैट खाते में ट्रांसफर हो जाते हैं इस प्रिक्रिया को डीमैटरियलाइजेशन कहते हैं।

भारत में डीमैट अकाउंट सेवा किसके द्वारा प्रदान की जाती है ?

भारत में डीमैट अकाउंट सेवा एनएसडीएल और सीडीएसएल, डिपॉजिटरी द्वारा अन्य ब्रोकर, स्टॉक ब्रोकर और डिपॉजिटरी पार्टिसिपेंट के माध्यम से प्रदान की जाती है।

डीपी आईडी क्या होता है ?

डीपी आईडी की बात करें तो डीपी आईडी एक प्रकार का नंबर है जो कि एनएसडीएल और सीडीएसएल द्वारा बैंक, ब्रोकर, स्टॉक ब्रोकर और डिपॉजिटरी पार्टिसिपेंट आदि को दिया जाता है। आपका जो डीमैट अकाउंट नंबर वह डीपी आईडी और आपकी कस्टमर आईडी का कॉम्बिनेशन है।

डीमैट अकाउंट कितने प्रकार के होते हैं? Types of demat account


Regular demat account-नियमित डीमैट खाता
Repatriable demat account-प्रत्यावर्तनीय डीमैट
Non-repatriable demat account-गैर-प्रत्यावर्तनीय डीमैट खाता

डीमैट अकाउंट कैसे खोले ? How to open demat account in hindi

-अब आपके सामने एक फॉर्म आएगा जिसमें आपको अपनी बेसिक जानकारी जैसे- नाम, नंबर, स्टेट और सिटी का नाम भरना पड़ेगा।

-इसके बाद आपके सबमिट किये हुए मोबाइल नंबर पर एक OTP (ओटीपी ) प्राप्त होगा। ध्यान रखें आपका फ़ोन नंबर आधार कार्ड से लिंक होना चाहिए।

का अगला पेज ओपन हो जाएगा जहाँ पर आपको अपनी महत्वपूर्ण कुछ महत्वपूर्ण जानकरियां भरनी पड़ेगी जैसे जन्म तिथि, डीमैट अकाउंट का क्या मतलब होता है? पैन कार्ड नंबर, पता और भी अन्य जानकरियाँ आपके ब्रोकर द्वारा मांगी जा सकती है।

डीमैट खाता खुलवाने हेतु आवश्यक दस्तावेज - Demat Account Required Documents

ड्राइविंग लाइसेंस, पैन कार्ड, बैंक प्रमाणन, पासपोर्ट, मतदाता आईडी, बिजली या फोन बिल की सत्यापित प्रति व आईसीएआई, आईसीडब्ल्यूएआई, आईसीएसआई, बार परिषद आदि, तस्वीर के साथ जारी पहचान पत्र, आईटी रिटर्न और केंद्रीय या राज्य सरकारी निकाय द्वारा जारी एक फोटो आईडी कार्ड इनमें से कुछ ही आपके ब्रोकर द्वारा मांगे जा सकते हैं।

पते के प्रमाण के लिए आवश्यक दस्तावेज -

मतदाता आईडी, ड्राइविंग लाइसेंस, आवासीय टेलीफोन या बिजली बिलों की सत्यापित प्रतियां, बैंक पासबुक या बैंक स्टेटमेंट, पासपोर्ट, राशन कार्ड, उच्च न्यायालय/सुप्रीम कोर्ट के न्यायाधीशों द्वारा स्व-घोषणा पत्र, केंद्रीय सरकार या राज्य सरकारी निकाय द्वारा जारी किए गए पते के साथ एक फोटो आईडी कार्ड, छुट्टी और लाइसेंस अनुबंध या बिक्री का अनुबंध, आईसीएआई, आईसीडब्ल्यूएआई या फिर आईसीएसआई, बार काउंसिल आदि द्वारा जारी तस्वीर और पते के साथ पहचान पत्र। इनमें से भी कुछ ही डाक्यूमेंट्स आपके ब्रोकर द्वारा मांगे जा सकते हैं।

डीमैट अकाउंट नंबर क्या होता है ?

जब आपके ब्रोकर द्वारा आपका डीमैट अकाउंट खोल दिया जाता है, तब आपको डीमैट अकाउंट के लिए एक 16 अंकों का एक यूनिक नंबर मिलता है जिसे डीमैट अकाउंट नंबर कहते हैं।

एक व्यक्ति के कितने डीमैट अकाउंट हो सकते हैं ?

डीमैट खाते की फीस क्या है ? ब्रोकरेज चार्ज क्या है?

डीमैट खाते के लिए आपको वार्षिक फीस देनी होती है जिसे कि फोलियो मेंटनेस चार्ज भी कहते हैं। यह फीस लगभग 300 रूपये और 900 रूपये के बीच होती है यह अलग-अलग ब्रोकर या डीपी के लिए अलग हो सकती है।

बात करें ब्रोकरेज की तो हर डीपी आपके किये गए लेन-देन पर कुछ मामूली सी फीस लेते हैं जिसे ब्रोकरेज कहा जाता है यह सभी डीपी के अपने तरीके होते हैं जैसे कोई लेन-देन दोनों पर चार्ज करता है। कोई शेयर्स खरीदते समय फीस लेते हैं और कोई बेचते समय लेते हैं। कोई डीपी महीने के सभी लेन-देन के लिए एक निश्चित फीस लेते हैं।

डीमैट अकाउंट के फायदे और नुकसान क्या हैं ?

डीमैट अकाउंट के नुकसान

तकनीकी ज्ञान - यदि कंप्यूटर और सॉफ्टवेयर का तकनीकी ज्ञान कम है तो फिर शुरू में आपको डीमैट अकाउंट को चलाना मुश्किल होगा।

शेयर्स में ज्यादा ट्रेड - डिजिटल सिस्टम के कारण आप कभी भी शेयर खरीद बेच सकते हैं जिसके कारण आपको नुकसान हो सकता है।

पोर्टफोलियो का ऊपर-निचे होना-आपके डीमैट अकाउंट में लगातार पोर्टफोलियो का ऊपर-निचे होना जिससे आपको मानसिक परेशानी का सामना करना पड़ता है।

डीमैट अकाउंट के फायदे


चोरी होने या खोने का खतरा-पहले कागजी प्रमाण के रूप में आपको शेयर डीमैट अकाउंट का क्या मतलब होता है? प्रमाण मिलता था जिससे शेयर सर्टिफिकेट के खोने का खतरा होता था लेकिन अब डीमैटरियलाइजेशन के कारण शेयर्स के चोरी होने या खोने का खतरा नहीं है।

व्यापार की जाँच-आप अपने डीमैट खाते से अपने व्यापार की जाँच और लेन-देन को आसानी से देख सकते हैं और उसका प्रबंध कर सकते हैं।

दोस्तों आपको आज के लेख में डीमैट खाता से संबंधित जानकारी बहुत अच्छी लगी होगी। इससे आपके मन में डीमैट खाते को लेकर कई सवालों के समाधान मिले होंगे। यदि फिर भी हमसे इस लेख को लिखते समय कोई गलती हुई है तो कृपया कमेंट बॉक्स में जरूर बताएं हम इसे जल्दी से ठीक करने का प्रयास करेंगे। यदि आपके मन में और भी कोई सवाल है तो आप हमें कमेंट के माध्यम से पूछ सकते हैं।

सावधानी - यह लेख हमने केवल एक शिक्षा और ज्ञान के प्रसार के उद्देश्य से लिखा है ( हम आपको शेयर मार्केट में इन्वेस्ट करने की कोई भी सलाह नहीं देते हैं )। शेयर मार्केट में निवेश करना जोखिम भरा हो सकता है। शेयर मार्केट में लाभ या हानि व्यक्ति के ज्ञान और जोखिम लेने की क्षमता पर निर्भर करता है।

Demat Account Meaning in Hindi

What is Demat Account Meaning in Hindi डीमैट खाता क्या है, कैसे काम करता है, डीमैट अकाउंट की आवश्यकता क्यों पड़ती है और इसके क्या क्या फायदे हैं विस्तार से हिंदी में जानिये. डीमैट खाते की जानकारी और इसे कैसे खुलवा सकते हैं। इसके क्या फायदे हैं और इसे कैसे मेंटेन करते हैं। शेयर बाजार के बारे में अधिक जानकारी और अन्य पहलुओं को जानने के लिये हिंदी में शेयर मार्केट विस्तार से पढ़ें। What is Demat Account and what are benefits of it in Hindi.

Demat Account Meaning in Hindi

Demat Account Meaning in Hindi

Demat Account Meaning in Hindi – No Physical Shares in Demat

ऐसा डिजिटल खाता जिसमें कंपनियों के शेयर कोई शेयरधारक डिजिटल अवस्था में रखता है उसे Demat Account कहते हैं। इसको आसानी से ऐसे समझिये. जैसे डीमैट अकाउंट का क्या मतलब होता है? हम आपने पैसे अपने बैंक के खाते में रखते हैं वैसे ही हम अपने शेयर डीमैट खाते में रखते हैं। जैसे हम यदि बैंक के खाते से नकदी निकलवा लें तो वह नकदी या करंसी पैसे का भौतिक रूप है। मगर जब हम अपने डेबिट कार्ड से किसी दूकानदार को पेमेंट करते हैं तो यह पैसों का इलेक्ट्रॉनिक ट्रान्सफर हुआ. इसी प्रकार यदि हमारे पास शेयर हैं तो हम या तो उन्हें किसी को गिफ्ट देंगे या बाजार में बेच देंगे, दोनों ही परिस्थितियों में शेयरों का एक डीमैट खाते से दूसरे डीमैट खाते में इलेक्ट्रॉनिक ट्रान्सफर किया जाएगा. शेयरों को भौतिक रूप में रखने की आवश्यकता ही नहीं पड़ती.

Demat Account Meaning In Hindi

शेयरों को इलेक्ट्रॉनिक्स रूप से खाते में रखने की सुविधा को डीमैट कहते हैं. भारत में शेयर और प्रतिभूतियां को इलेक्ट्रॉनिक रूप से Dematerialized डिमैटीरिलाईज्ड यानी Demat Account में रखा जाता है. शेयर धारक शेयरों को भौतिक रूप में यानी कागज़ पर छपे हुए शेयर सर्टिफिकेट नहीं रखते. इसके लिए ब्रोकर के पास जा कर Demat Account खुलवाया जाता डीमैट अकाउंट का क्या मतलब होता है? है. सभी शेयरों के लेनदेन में डीमैट खाते का नंबर लिखा जाता है जिससे कि शेयरों की खरीद बिक्री का इलेक्ट्रॉनिक सेटलमेंट हो सके. किसी भी तरह के शेयरों के लेनदेन के लिए शेयर होल्डर के पास डीमैट खाता होना आवश्यक है.

शेयर सीधे खाते में आते हैं Keep your Shares in Demat Account

Demat Account तक पहुँचने के लिए इन्टरनेट पर पासवर्ड की जरूरत होती है. शेयरों की खरीद और बिक्री सौदा कन्फर्म होने पर स्वत ही हो जाती है.

जब भी कोई कंपनी बोनस अथवा राईट शेयर जारी करती है तो ये शेयर भी सीधे शेयर होल्डर के Demat Account में आ जाते हैं. आईपीओ IPO में शेयरों के आवेदन करने के लिए भी डीमैट खाते की आवश्यकता है. यदि आईपीओ में आपको शेयर मिले हैं तो वे सीधे आपके डीमैट खाते में ही आ जाते हैं.

Demat खाते के फायदे

डीमैट शेयर गुम नहीं होते, खराब नहीं हो सकते, चोरी नहीं हो सकते. इनसे सिग्नेचर ना मिलने जैसी समस्या भी नहीं होती. Demat Account की वजह से शेयरों की खरीद बिक्री में धोखा होने की संभावना भी समाप्त हो जाती है. यह बहुत ही सुविधाजनक भी है.

कैसे खुलवाएँ Demat खाता

आप अपना Demat Account किसी दूसरे को ट्रान्सफर नहीं कर सकते मगर इसमें पड़े शेयर दूसरे को ट्रान्सफर कर सकते हैं. डीमैट खाता किसी दूसरे के साथ जॉइंट तरीके से खुलवाया जा सकता है. आप एक से अधिक डीमैट खाते भी खोल सकते हैं. अधिकतर निजी बैंक आपको डीमैट खाता खुलवाने की सुविधा देते हैं. इसके अलावा कई निजी ब्रोकर कंपनियों के पास डीमैट खाता खुलवाया जा सकता है. इसके लिए आपको अपना पैन कार्ड की कॉपी, पते का प्रूफ देना होता है और KYC भरना पड़ता है.

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